सहारनपुर। हाल ही में भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर से कांग्रेस महासचिव और पूर्वी उत्तर प्रदेश के प्रभारी प्रियंका गांधी ने मुलाकात की थी। और इसके बाद इसकी चर्चाएं शुरू हो गई हालांकि अब भीम आर्मी के अध्यक्ष विनय रतन सिंह ने साफ कहा है कि उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस के समर्थन करने के लिए कोई वजह नहीं है उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस ने दलितों के लिए कुछ भी नहीं किया।
विनय रतन सिंह ने यह भी कहा कि कांग्रेस पार्टी ने इतने लंबे समय तक देश में शासन किया लेकिन उन्होंने दलितों के लिए कुछ भी नहीं किया बल्कि उनके शासनकाल में दलितों पर अत्याचार हुई है उनके ही शासन काल में आरएसएस और बीजेपी को उठाने का मौका मिला। हमारे पास उनके समर्थन हेतु एक भी वजह नहीं है।
प्रियंका गांधी से नहीं मिलना चाहते थे चंद्रशेखर-
चंद्रशेखर से प्रियंका गांधी की मुलाकात के बारे में विनय सिंह ने बताया कि चंद्रशेखर भाई प्रियंका से मुलाकात करना नहीं चाहते थे उन्होंने मना कर दिया था पर उनके विशेष अनुरोध पर कुछ मिनट के लिए उनकी बात हुई इसमें किसी भी प्रकार की कोई राजनीतिक चर्चा नहीं हुई थी। ज्ञात हो शुक्रवार को एक रैली के दौरान चंद्रशेखर ने कहा था कि वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ वाराणसी से चुनाव लड़ेंगे। चंद्रशेखर ने इसके लिए बीएसपी और एसपी पार्टी से अपनी उम्मीदवारी के लिए समर्थन मांगा था। इसके बदले में उन्होंने कहा था कि दूसरी सीटों पर भीम आर्मी बीएसपी और एसपी का समर्थन करेगी। भीम आर्मी अध्यक्ष विनय सिंह ने कहा कि भीम आर्मी बीएसपी सुप्रीमो मायावती का कभी समर्थन नहीं करती लेकिन वह बहुजन आंदोलन का हिस्सा रही है और उन्होंने अखिलेश यादव को भी अपनी गलतियां मांगने को कहा है। समाजवादी पार्टी में कुछ ही लोग हैं जिन्होंने दलितों के मुद्दे को उठाया है हालांकि अखिलेश यादव ने जो गलतियां की है उन पर उन्हें जवाब देना चाहिए अगर वह दलितों का वोट चाहते हैं तो उन्हें अपनी गलतियों को सुधारना होगा।
दलित आंदोलन का हिस्सा नहीं होती मायावती तो कभी समर्थन नहीं करते-
मायावती द्वारा भीम आर्मी को बीजेपी का प्रोडक्ट बताए जाने पर उन्होंने कहा कि अगर वह दलित आंदोलन का हिस्सा ना होती तो हम उन्हें कभी सपोर्ट ना करते। कई दलित नेता और विधायक ऐसे हैं जिनको इस मुहिम से कोई मतलब नहीं है तो हमें भी ऐसे नेताओं से कोई मतलब नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी के खिलाफ वह अपना कैंडिडेट उतारेगी। उन्होंने बताया कि भीम आर्मी पंजाब में भी अपने कैंडिडेट उतारेगी क्योंकि वहां पर दलितों की संख्या ज्यादा है। आपको बता दें कि पंजाब प्रदेश में लोकसभा की कुल 13 सीटें हैं।
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