पूर्व गृह सचिव जी के पिल्लै के इस आरोप के बाद गृह मंत्रालय विवादास्पद इशरत जहां मामले से संबंधित फाइलों की जांच करेगा कि पूर्व गृह मंत्री पी चिदंबरम ने हलफनामे को बदल दिया था जिसमें इशरत और उसके मारे गए सहयोगियों को शुरू में लश्कर ए तैयबा का आतंकवादी बताया गया था। गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘‘इशरत जहां मामले से संबंधित फाइलों का हम पता लगाने का प्रयास कर रहे हैं।
हमें अभी तक पूरी फाइल नहीं मिली है क्योंकि इनमें से कुछ का पता लगाया जाना है।’’ अधिकारी ने कहा कि पूर्व गृह सचिव के बयान के बाद इशरत जहां की फाइल पर गौर करना जरूरी है। उन्होंने कहा, ‘‘नये तथ्यों के सामने आने को देखते हुए हम फाइलों पर गौर कर रहे हैं।’’ पिल्लै ने कल दावा किया था कि संप्रग सरकार के दौरान गृह मंत्री रहे कांग्रेस नेता चिदंबरम ने मूल हलफनामे के एक महीने बाद फाइल मंगवाई थी।
उच्चतम न्यायालय में दायर मूल फाइल में इशरत और उसके मारे गए सहयोगियों को लश्कर ए तैयबा का आतंकवादी बताया गया था। मीडिया की खबरों में पिल्लै को उद्धृत करते हुए कहा गया, ‘‘मंत्री के निर्देश के मुताबिक हलफनामे को संशोधित करने के बाद मेरे पास भेजा गया।’’ तत्कालीन संप्रग सरकार ने दो हलफनामे सौंपे थे एक में कथित फर्जी मुठभेड़ में मारे गए चार लोगों को आतंकवादी बताया गया और दूसरे में बताया गया कि कोई निर्णायक साक्ष्य नहीं है।’’
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