जम्मू/श्रीनगर ! जम्मू-कश्मीर में सत्ता को लेकर खींचतान शुरू हो गई है। मुफ्ती मोहम्मद सईद के निधन के बाद मुख्यमंत्री की कुर्सी के लिए राजनीति दलों ने जोड़तोड़ का गणित लगाना शुरू कर दिया है। नेशनल कॉन्फ्रेंस प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला ने अपने बयान पर यू-टर्न ले लिया है।
आज पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने कहा कि मैंने कभी नहीं कहा कि हम भाजपा के साथ जाकर राज्य में सरकार बनाने जा रहे हैं। मैंने मात्र इतना कहा कि पार्टी की कार्यसमिति में इस मसले पर बात होगी। अब्दुल्ला ने कहा कि यदि भाजपा और पीडीपी में सहमति नहीं बन पा रही है तो वे विधानसभा भंग करें हम चुनाव के लिए तैयार हैं। उनके पास बहुमत है, उन्हें बैठकर जनता की समस्याओं का सामाधान निकालना चाहिए। उन्होंने कहा कि हम एक सीमावर्ती राज्य हैं। हम कठिन दौर से गुजर रहे हैं। लोग एक निर्वाचित सरकार चाहते हैं। अनिश्चितता खत्म होनी चाहिए। यह पूछने पर कि क्या नेशनल कांफ्रेंस सरकार बनाने पर विचार कर रही है, फारूक ने कहा कि भ्रम पैदा करने की कोशिश न करें। फिलहाल हमारे पास राज्य में सरकार बनाने का जनादेश नहीं है। फारूक ने शनिवार को जम्मू में राज्यपाल एन.एन.वोहरा से मुलाकात की थी।
इसके बाद यह चर्चा शुरू हो गई थी कि वह राज्य में एक अन्य गठबंधन की सरकार बनाने की दिशा में सक्रिय हो गए हैं। पीडीपी-भाजपा गठबंधन के बने रहने पर छाई अनिश्चितता के बीच नेशनल कांफ्रेंस के नेता फारुक अब्दुल्ला ने शनिवार को कहा था कि उनकी पार्टी भाजपा के साथ सरकार बनाने के लिए गठबंधन पर विचार करने को तैयार है। नेशनल कांफ्रेंस के संरक्षक से जब पूछा गया कि पार्टी को अगर भाजपा की तरफ से गठबंधन सरकार बनाने का प्रस्ताव मिलता है तो उनका क्या रुख होगा तो उन्होंने कहा कि अगर इस तरह का प्रस्ताव आता है तो नेशनल कांफ्रेंस कार्यकारी समिति की बैठक बुलाएगी और इस पर चर्चा करेगी।
सत्ता की भूखी नहीं है पार्टी: उमर
जम्मू-कश्मीर में भाजपा के साथ सरकार बनाने के नेशनल कान्फ्रेंस की तरफ से रजामंदी जताने के फारूक अब्दुल्ला के बयान के एक दिन बाद उनके बेटे उमर अब्दुल्ला ने आज भगवा पार्टी के साथ किसी तरह के तालमेल की गुंजाइश को यह कहते हुए खारिज कर दी कि उनकी पार्टी सत्ता की भूखी नहीं हैÓ और विचारधारा के साथ समझौताÓ नहीं करेगी।
पीडीपी ने की आपात बैठक
जम्मू एवं कश्मीर में भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन के मुद्दे पर पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की बैठक श्रीनगर हुई। मुख्यमंत्री के गुपकर मार्ग स्थित सरकारी आवास पर हुई इस बैठक में पार्टी सांसद, पूर्व मंत्री समेत कई वरिष्ठ नेताओं ने हिस्सा लिया। अपने पिता और मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद के निधन के बाद उनकी बेटी महबूबा मुफ्ती ने पहली बार बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में सभी नेताओं ने भाजपा के साथ गठबंधन का फैसला महबूबा पर छोड़ दिया है। यानी अब महबूबा ही तय करेंगी की पीडीपी किस पार्टी के साथ मिलकर राज्य में सरकार बनाए।
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