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उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने दिल्ली के जेएनयू विवाद पर कहा कि मामला न्यायालय में विचाराधीन है और संसद के पटल पर है इसका फैसला न्यायालय और संसद ही करेगी। अभिव्यक्ति कि आजादी पर राज्यपाल ने कहा कि बोलने कि आजादी सबको है लेकिन मर्यादा में, सभी को संविधान के दायरे में रहकर अपने दायित्वों का निर्वहन करना चाहिए।
राज्यपाल राम नाईक आज डॉ. राम मनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय के 20वे दीक्षांत समारोह के मौके पर फैजाबाद में थे। इस दौरान राज्यपाल ने 89 मेधावियों को गोल्ड मैडल और डिग्री प्रदान किया। कार्यक्रम में राज्यपाल ने इसरो के वैज्ञानिक पदमश्री प्रो. वाई.एस. राजन और काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. जी.सी. त्रिपाठी को मानद उपाधि भी प्रदान की। मुख्य अतिथि के रूप में राष्ट्रीय मूल्याकन परिषद् के निदेशक प्रो. डी.पी. सिंह भी मौजूद रहे।
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